एक प्रतियोगिता में पूछा गया कि एक ऐसा वाक्य बताओ जिसमें *दुविधा, जिज्ञासा, डर, शांति, क्रोध, हिंसा व खुशी* का आभास हो।।🤔🤔
विजयी वाक्य ये था…..
*मेरी पत्नी बात नहीं कर रही है*
एक प्रतियोगिता में पूछा गया कि एक ऐसा वाक्य बताओ जिसमें *दुविधा, जिज्ञासा, डर, शांति, क्रोध, हिंसा व खुशी* का आभास हो।।🤔🤔
विजयी वाक्य ये था…..
*मेरी पत्नी बात नहीं कर रही है*
रात में एक चोर घर में घुसा..।
😀😃
कमरे का दरवाजा खोला
तो
बरामदे पर एक बूढ़ी औरत सो रही थी।😴
खटपट से उसकी आंख खुल गई। चोर ने घबरा कर देखा
तो 😦
वह लेटे लेटे बोली….😄
‘‘ बेटा, तुम देखने से किसी अच्छे घर के लगते हो,
लगता है किसी परेशानी से मजबूर होकर इस रास्ते पर लग गए हो।
चलो ….कोई बात नहीं। 😄
अलमारी के तीसरे बक्से में एक तिजोरी
है ।😊
इसमें का सारा माल तुम चुपचाप ले जाना। 😄
मगर😃
पहले मेरे पास आकर बैठो, मैंने अभी-अभी एक ख्वाब
देखा है । वह सुनकर जरा मुझे इसका मतलब तो बता
दो।”😄
चोर उस बूढ़ी औरत की रहमदिली से बड़ा अभिभूत हुआ और चुपचाप उसके पास जाकर बैठ गया। 😐
बुढ़िया ने अपना सपना सुनाना शुरु किया…😴
‘‘बेटा, मैंने देखा कि मैं एक रेगिस्तान में खो गइ हूँ।
ऐसे में एक चील मेरे पास आई और उसने 3 बार जोर जोर
से बोला पंकज! पंक़ज! पंकज!!!
बस फिर ख्वाब खत्म हो गया और मेरी आंख खुल गई। 😇
..जरा बताओ तो इसका क्या मतलब हुई? ‘‘
चोर सोच में पड़ गया। 😓
इतने में बराबर वाले कमरे से
बुढ़िया का नौजवान बेटा पंकज अपना नाम
ज़ोर ज़ोर से सुनकर उठ गया और अंदर आकर चोर की
जमकर धुनाई कर दी।😋😋😵😜
बुढ़िया बोली ‘‘बस करो अब
यह अपने किए की सजा भुगत चुका।”😨
चोर बोला, “नहीं- नहीं ! मुझे और कूटो , सालों!….😧
ताकि मुझे आगे याद रहे कि…
… मैं चोर हूँ , सपनों का सौदागर नहीं।
मैंने ज़िन्दगी में जितना भी सफर
किया है
उससे मुझे एक बात का अनुभव हुआ है
*
*
कि ट्रेन कभी पंचर नहीं होती
एक बात पूछनी है आप लोगो से…….
😀😁👈🏻
.
.
.
.
.
.
.
.
.
.
.
.
.
😀😁👈🏻
ये लड़कियों का दिल कितना डिग्री सेल्सियस पर पिघलता है….
स्पीड बढ़ाते ही कार बंद हो गई।
पत्नी जोर-जोर से हसने लगी।
पति:- “हस क्यों रही हो,?
”
पत्नी- “कुछ नहीं,
रात वाली बात याद आ गई
उन लड़कियों पे भी
कभी कभी दया आ
जाती है जो सोचती हैं
कि,
उनका Boyfriend उसके
सिवा किसी औऱ लड़की
को देखता तक नहीं।
टीटू :- भैया ये अंडा कितने का दिया ??
दुकानदार :- 7 रुपए का !
टीटू :- लेकिन पड़ोस वाला तो 6 का ही दे रहा है…😢
दुकानदार :- हाँ तो भैया, उनकी मुर्गियाँ 🐔🐔भी तो बदचलन है
पुरुष कैसे भी खुश हो सकते हैं,
.
.
.
.
.
लिफ्ट में अदृश्य महिला *’कृपया दरवाजा बंद कर दीजिए,’* कहती है
बस इतना सुनकर भी!
अखिलेश यादव ने टाइल्स और नल इसलिए उखाड़ी ताकि
कोई यह न कहे की योगी राज में तूने क्या उखाड़ लिया।
भारतीय महिलायें *ऑनलाइन शॉपिंग में* कन्फ्यूज़्ड रहतीं है
क्योंकि उसमें *यें ऑप्शन* नहीं होता कि..
*भैया ठीक-ठीक लगा लों…*
*मैं तों हंमेशा “यहीं से” लेती हूं !!*